हरीश बड़थ्वाल - एक परिचय
बचपन से लेकर जब तक मैं भारत में था तो कई बड़थ्वाल लोगों से परिचय मेरा रहा. अपने सैंज, सिराई, जोली (हमारे गांव के आसपास) के अलावा जो गांव उस वक्त मुझे मालूम थे, वे थे: पाली तल्ली, बडेथ, बुडोली, खंड और क्यार. कारण मेरे पिताजी का उस गांव के लोगो से किसी न किसी प्रकार का सम्बन्ध. उनमें से एक गांव "खंड" (देवप्रयाग के निकट, कांडी, दाबड़, अमोला से घिरे, पौड़ी जनपद में). खंड से स्व. तीर्थानंद बड़थ्वाल ताऊ जी का पिताजी से प्रेम व अपनत्व ही आज उनकी याद उनके चेहरे को जस का तस मेरी आंखों में बसाये हुए है. आज कई बरसों बाद आज मुझे फेसबुक व इस समूह के जरिये उन्हें याद करने का मौका मिल रहा है. उनकी स्मृति को प्रणाम करता हूँ. याद का कारण कि यहां तीर्थानन्द ताऊ जी के सुपुत्र श्री हरीश बड़थ्वाल भाई साहब' से मिलना हुआ कई वर्षों बाद. तो आइये आपकी मुलाकात हरीश भाई साहब से करवा दी जाए क्योंकि लेखन - ब्लागर (हिंदी व अंग्रेजी) जगत में यह नाम प्रमुखता से लिया जाता है और लोग इन्हें शौक से पढ़ते हैं.
हरीश भाई जी का जन्म खंड में ही हुआ. लिखने का शौक उन्हें अपने पिताजी स्व. तीर्थानन्द जी से जैसे विरासत में मिला हो. ताऊ जी ने साधारण आय होने पर भी सभी बच्चों को नौकरी तलाशने के बदले जीवन को संस्कारों, निष्ठाओं और मूल्यों से संवारने, निखारने की प्रेरणा दी - घर में सुख-सुविधाओं से समझौता भले ही हो जाता किंतु पढ़ाई के खर्चों में उनका हाथ नहीं भिंचता था. परिवार में छोटा भाई जीएसआई से निदेशक बतौर सेवानिवृत्त हुए, तीन बहनों में दो (दिवंगत) क्रमशः दिल्ली शिक्षा निदेशालय से प्रिंसीपल और एयर फोर्स स्कूल से वरिष्ठ अध्यापक रहीं. तीसरी एमिटी इंटरनेशलन नॉएडा में वरिष्ठ अध्यापिका हैं. बेटी सिलोगी और बेटे उत्कृष्ट दोनों में स्नातकोत्तर शिक्षा से बढ़ कर निरंतर पढ़ने-सीखने की उत्कंठा है. हरीश भाई साहब की धर्मपत्नी नीलम जी अध्यापिका हैं.
हरीश भाई जी ने दिल्ली, कोलकाता, भोपाल, करनाल शहरों में अनेक सरकारी, अर्ध-सरकारी व निजी संगठनों के जिम्मेदाराना संपादकीय पदों पर करीब 40 वर्षो तक कार्य किया. देहरादून के दैनिक (अंग्रेजी) टैब्लॉयड में दो वर्ष तक तथा दिल्ली के (हिंदी) दैनिक वीर अर्जुन में छह वर्ष तक रविवारी कॉलम लिखे. राष्ट्र स्तरीय हिंदी-अंग्रेजी अखवारों में उनके 700 से अधिक आलेख अध्यात्म, बेहतर जीवन, स्वास्थ्य, व्यंग्य आदि विषयों पर प्रकाशित हो चुके हैं.
उनके कार्य क्षेत्र पर नज़र डाले तो:
- मैसर्स कुटीर उद्योग समाचार, नेशनल पब्लिशिंग हाउस, नई दिल्ली;
- सेन्ट्रल इंस्टिट्यूट ऑफ़ एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग (ICAR), भोपाल (मध्य प्रदेश); सेन्ट्रल सॉइल सेलिनिटी रिसर्च इंस्टिट्यूट (ICAR), करनाल (हरियाणा);
- डाइरेक्टोरेट ऑफ़ एडल्ट एजूकेशन, शिक्षा विभाग, भारत सरकार, दिल्ली
- एंथ्रोपोलोजिकल सर्वे ऑफ़ इण्डिया, संस्कृति विभाग, भारत सरकार, कोलकत्ता (पश्चिम बंगाल);
- नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ पब्लिक कोऑपरेशन एंड चाइल्ड डेवेलपमेंट, नई दिल्ली.
संपादन
- SAIL न्यूज; (आईटीसी का) 'पुकार';
- इन्डियन हार्ट जरनल;
- नर्सिंग जरनल आफ इण्डिया;
- इनसाईक्लोपिडिया ऑफ़ मेनेजमेंट एंड इकोनोमिक साइंसिंज़.
अखबारों में
अंग्रेजी - हिंदुस्तान टाइम्स, डैक्कन हेराल्ड, द न्यू इन्डियन एक्सप्रेस, दि ट्रिब्यून, ओड़िसा पोस्ट, हंस द इंडिया, दि हितवाद, असम ट्रिब्यून, इकोनोमिक्स टाइम्स, द पाईनियर, पैट्रियट, नेशनल हेरल्ड.
हिंदी - नवभारत टाइम्स, दैनिक जागरण, दैनिक हिंदुस्तान, दैनिक ट्रिब्यून, अमर उजाला, राजस्थान पत्रिका, दैनिक विश्वमित्रा, सन्मार्ग, डेली मिलाप इत्यादि.
ब्लंटस्पीकरडाटकाम (www.bluntspeaker.com ) नाम से उनका (हिंदी-अंग्रेजी मिश्रित) ब्लॉग है. सामयिक विषयों पर उनकी स्पष्टता व ज्ञान, उनके लेखन को एक अलग श्रेणी में खड़ा करते हैं. जब आप इस ब्लॉग पर जायेंगे तो आप उनके विस्तृत लेखन, विषय पर उनकी पकड़ और बेबाक राय से परिचित होंगे.
हरीश बड़थ्वाल भाई जी पर हम सभी को गर्व है और उन्हें शुभकामनाएं प्रेषित करते हैं.
-प्रतिबिम्ब बड़थ्वाल
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आपका सहयोग - आपके विचारो और राय के माध्यम से मिलता रहेगा येसी आशा है और मुझे मार्गदर्शन भी मिलता रहेगा सभी अनुभवी लेखको के द्वारा. इसी इच्छा के साथ - प्रतिबिम्ब बड़थ्वाल